Advertisement
HomeUttar PradeshAgraआगरा में गड्ढे में मासूम के डूबने के बाद जागे जिम्मेदार, आधी...

आगरा में गड्ढे में मासूम के डूबने के बाद जागे जिम्मेदार, आधी रात को बंद कराया एक गड्ढा

आगरा

गड्ढे में गिरकर मासूम की मौत, झांकते वक्त फिसला पैर-घर में मचा कोहराम

वही हुआ जिसकी आशंका थी। तोता का ताल ईसाइयों के कब्रिस्तान के सामने जल निगम द्वारा खोदे गए गड्ढों में हादसे पर हादसे होते रहे। लोग डूबते रहे, गिरते रहे, चोट खाते रहे। मगर, विभाग की नींद नहीं टूटी। शायद उन्हें किसी बड़े हादसे का इंतजार था।

सोमवार को साढ़े पांच वर्षीय मासूम जीशान की मौत के बाद जिम्मेदार जागे। आधी रात को उन्होंने एक गड्ढा बंद करा दिया। दूसरे गड्ढा जिसमें हादसा हुआ 24 घंटे के अंदर ही उसे बंद कराने के लिए सामान और मजूदर पहुंच गए। मासूम के पिता की तहरीर पर पुलिस ने ठेकेदार के खिलाफ जावेद एवं संबंधित विभाग के अधिकारी के खिलाफ लापरवाही से मौत के आरोप में मुकदमा दर्ज किया है। मंगलवार को पुलिस ने आसपास के लोगों के बयान दर्ज किए

लोहामंडी के बिल्लोचपुरा निवासी रियाजुद्दीन का साढ़े पांच वर्षीय पुत्र जीशान सोमवार की सुबह 11 बजे बस्ती के दो बच्चों के साथ तोता का ताल पर दुकान से सामान खरीदने गया था। वहां जल निगम द्वारा भारत संचार निगम लिमिटेड की केबिल सही करने के लिए खोदे गए 15 फीट गहरे गड्ढे में गिरकर डूबने से मौत हो गई थी। सोमवार की रात को दो बजे एक गड्ढे को जेसीबी की मदद से बंद कराया गया। जिस गड्ढे में जीशान गिरा था, उसके चारों रात मे ही पाइप लगा दिए थे। मंगलवार की दोपहर 12 बजे चंबल समेत अन्य सामान ट्रैक्टर-ट्राली में वहां लाकर डाला गया।

पिता रियाजुद्दीन ने बताया कि प्रशासन का कोई अधिकारी 24 घंटे बाद भी उनके घर नहीं आया। सीओ लोहामंडी अर्चना सिंह ने बताया बालक जीशान के पिता रियाजुद्दीन की तहरीर पर ठेकेदार जावेद और संबंधित विभाग के जिम्मेदार लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। विवेचना की जा रही है, जिसकी लापरवाही पाई जाएगी उसके खिलाफ कार्यवाही होगी। मंगलवार को पुलिस घटनास्थल पर पहुंची। उसने आसपास के लोगों के बयान दर्ज किए।

मासूम जीशान को खोने के बाद मां नईमा, पिता रियाजुद्दीन, दादी फरीदा और दादा अब्दुल वहीद का बुरा हाल है। मां ने घटना के बाद से खाना नहीं खाया। स्वजन ने बताया कि बचपन में जीशान काफी बीमार हो गया था। तब मां नईमा उसे लेकर कई दिन तक जागती रही थी। वह दादी और दादा का भी चहेता था। स्वजन का कहना था कि मौत के गड्ढे ने उनके मासूम बच्चे की जिंदगी छीन ली।

बस्ती के लोगों में घटना के बाद से डर बैठ गया है। उन्होंने मंगलवार को अपने बच्चों काे खेलने के लिए उधर, नहीं भेजा। बच्चों को हिदायत दे रखी थी कि वह गली के बाहर नहीं जाएंगे।

मासूम की मौत के बाद जीशान के स्वजन और बस्ती वालों में आक्रोश था। इस दौरान कई लोगों ने मुआवजे के लिए शव को सड़क पर रख जाम लगा प्रदर्शन करने के लिए भी उकसाया। मगर, स्वजन उनके बहकावे में नहीं आए। स्वजन ने बताया कि पुलिस उनके साथ देर रात तक रही। मासूम का पोस्टमार्टम कराने से लेकर सारी चीजों के लिए उसने सहयोग किया। पुलिस ने हादसे के जिम्मेदार लोगों के खिलाफ कार्यवाही का आश्वासन दिया। जिसके बाद प्रदर्शन कर शांति-व्यवस्था को खराब करना गलत होता।

समाजवादी पार्टी का प्रतिनिधि मंडल मंगलवार को जिला अध्यक्ष लाल सिंह लोधी के नेतृत्व में पीड़ित परिवार से मिला। सपा नेताओं ने दोषी अधिकारियों के खिलाफ कार्यवाही और पीड़ित परिवार के लिए मुआवजे की मांग की। सपा नेताओ ने कहा कि काम पूरा होने के बाद भी गड्ढे नहीं भरे जाते। विभागों के बीच तालमेल का अभाव है। जिससे लापरवाही के चलते पूर्व में भी कई घटनाएं हो चुकी हैं। सांत्वना देने वालों में धर्मेंद्र यादव, गौरव यादव, गौरव माहौर, डाक्टर रूमाल सिंह, केशव लोधी आदि थे।

 

RELATED ARTICLES

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

- Advertisment -

Most Popular

Recent Comments