जोरबाग में रविवार को वक्फ बिल 2024 का विरोध करते हुए उलमा मौलाना कल्बे जव्वाद ने इसे केंद्र सरकार की बड़ी साजिश बताया। मौलाना ने कहा कि यह बिल वक्फ की संपत्ति पर कब्जे के लिए लाया जा रहा है। वक्फ संपत्ति मुसलमानों की संपत्ति है। इसे मुसलमानों ने अल्लाह की राह में दान दिया है। वक्फ बोर्ड इसका मालिक नहीं, बल्कि हिफाजत करने वाला एक चौकीदार है।
उन्होंने कहा, “वक्फ जमीन पर कब्जे की शुरुआत कांग्रेस ने की थी। अब भाजपा भी उसी की राह पर चल पड़ी है। वक्फ की आठ लाख एकड़ जमीन बताई जा रही है, लेकिन इसमें से चौथाई भी बोर्ड के पास नहीं है। ज्यादातर जमीनों पर सरकार का कब्जा है।”
रजोकरी में झुग्गियां हटाने के लिए नोटिस जारी
दिल्ली वन विभाग के पश्चिम वन प्रभाग ने रजोकरी गांव के कुछ हिस्सों में रहने वाले लोगों को जगह खाली करने के लिए नोटिस जारी किया है, जिसमें कहा गया है कि उनकी संरचनाएं अवैध रूप से वन भूमि पर बनाई गई हैं जो रिज का हिस्सा है।
झुग्गियों में रहने वाले 1,000 से अधिक परिवारों को 16 अगस्त को नोटिस भेजा गया है। वन विभाग ने उन्हें सात दिनों में खाली करने के लिए कहा है। विभाग ने आठ अगस्त को एक नोटिस में कहा कि रजोकरी गांव में कुछ भूखंडों को आरक्षित वन के रूप में अधिसूचित किया गया है, जो भारतीय वन अधिनियम, 1927 के तहत अतिक्रमण है।
नई दिल्ली डीएम की अध्यक्षता में जिला स्तरीय विशेष कार्य बल की एक बैठक आयोजित की गई थी, जिसमें रजोकरी गांव में वन भूमि से अतिक्रमण हटाने का निर्णय लिया गया, सभी अतिक्रमणकारियों को सात दिनों के भीतर वन भूमि को खाली करने का निर्देश दिया गया है। अधिकारियों के मुताबिक, अतिक्रमण नहीं हटाने पर 19 से 23 अगस्त के बीच में अतिक्रमण के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।