जगनेर के गांव नगला पलटू में रह रहे ऐसे ही एक परिवार की महिला ने बताया, उत्तर प्रदेश के सीमावर्ती गांवों में पानी के लिए दूर नहीं जाना पड़ता है। बसई सावंता में तो पानी के टैंकर की कीमत भी बढ़ गई, उसके लिए भी इंतजार करना पड़ता है। घर में पानी जमा करने के लिए टैंक बनाना पड़ता है। मजदूरी करने वाले परिवारों के सामने तो सबसे ज्यादा संकट जल का होता है। वे सुबह काम पर निकले या फिर पानी का इंतजाम करें।
धौलपुर के गांव बसई सावंता की रहने वाली मीरा पत्नी संजय जल संकट के चलते आगरा के ब्लाक जगनेर की ग्राम पंचायत चन्दसौरा के नगला पलटू में अपनी रिश्तेदारी में रह रही है। मीरा ने बताया कि पानी का इंतजाम करने में छह से सात घंटे लग जाते हैं। बाकी समय में परिवार की देखभाल करते थे। मीरा ने बताया कि नगला पलटू में ननद सीमा रहती है। पति संजय टाइल्स लगाने का काम करते हैं। परिवार में सात वर्षीय बेटी राधिका व चार वर्ष का बेटा प्रिंस है। वोटर कार्ड वहीं का है। सास फूलवती अपने मायके जगनेर की सीमा पर जिला धौलपुर तहसील सैंपऊ के बड़ा गांव में रह रहीं हैं।